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मानसिक स्वास्थ्य क्या है? लक्षण और उपाय, बच्चो में मानसिक स्वास्थ्य के लक्षण और उपाय

 एक कहावत है हमारे भारत देश में की( मन स्वस्थ तो तन स्वस्थ) आज के दौर में हमारे भारत में ही नहीं पूरे विश्व में मानसिक रूप से स्वास्थ्य रहना एक बड़ी चुनौती बन चुकी है,स्टूडेंट को पढ़ाई की टेंशन,युवा को नौकरी की टेंशन ,बुजुर्गो को घर की टेंशन,इस टेंशन से हम अपने मानसिक स्वास्थ्य को बिगड़ के रख देते है और जब मानसिक स्वास्थ्य बिगड़ता हैं तो अनेको बीमारियो को जन्म देता है जैसे की हाई ब्लड प्रेशर या फिर लो ब्लड प्रेशर,हार्ट अटैक शुगर आदि। ज हम इस लेख में मानसिक स्वास्थ को प्रभावित करने वाले कारक, मानसिक स्वास्थ्य के उपाय  मानसिक हलचल को कम करने के लिए क्या करें, इन सभी बातों पर जानकारी दी जाएगी।


मानसिक स्वास्थ्य क्या है? लक्षण और उपाय, बच्चो में मानसिक स्वास्थ्य के लक्षण और उपाय

मानसिक स्वास्थ्य क्या है (what is mental health in Hindi):-

मानसिक स्वास्थ्य का सीधे शब्दों में अर्थ है की व्यक्ति तनाव ग्रस्त न हो,सुखी हो तथा सामान्य रूप से अपना जीवन यापन करता हो। और अपने कर्तव्य का निर्वहन करता हो और समाज हित में भी काम करें।


लेडेन के अनुसार

मानसिक स्वास्थ्य का अर्थ वास्तविकता के धरातल पर वातावरण से सामंजस्य स्थापित करना है

हमारा मानसिक संतुलन तब बिगड़ जाता है जब हम कल्पना जगत में खो जाते है।

इसलिए लेडेन ने कहा है की हमे वास्तविकता में जीना चाहिए न की कल्पना में

मानसिक स्वास्थ्य में हमारी भावनात्मक, मनोवैज्ञानिक और सामाजिक भलाई शामिल है।  यह प्रभावित करता है कि हम कैसे सोचते हैं, महसूस करते हैं और कार्य करते हैं।  यह यह निर्धारित करने में भी मदद करता है कि हम तनाव को कैसे संभालते हैं,  बचपन और किशोरावस्था से लेकर वयस्कता तक, जीवन के हर चरण में मानसिक स्वास्थ्य महत्वपूर्ण है।

WHO(World health organization)

मानसिक स्वास्थ्य को परिभाषित करते हुए कहता है कि यह "सलामती की एक स्थिति है जिसमें किसी व्यक्ति को अपनी क्षमताओं का एहसास रहता है, वह जीवन के सामान्य तनावों का सामना कर सकता है, लाभकारी और उपयोगी रूप से काम कर सकता है और अपने समाज के प्रति योगदान करने में सक्षम होता है

अच्छे मानसिक स्वास्थ्य के लक्षण (signs of good mental health in Hindi):-

एक अच्छे मानसिक स्वस्थ व्यक्ति में आपको निम्न लक्षण देखने को मिल सकते है।

  • आत्मसम्मान का ज्ञान होना
  • सहनशील आत्मविश्वास संवेदनात्मक
  •  दृढ़ इच्छाशक्ति और निर्णय शक्ति अच्छी मानसिक स्वास्थ्य वाले व्यक्ति तुरंत चुनाव कर लेते है की उन्हे क्या करना चहिए और क्या नहीं वो छोटी छोटी बातो से घबराते नहीं है।
  • सामंजस्य की योजना,सामाजिक रूप से संयोजित
  • अच्छी आदतों का होना और सामाजिक गुणों से युक्त होना
  • परिस्थिति अनुसार परिवर्तित हो जाना
  • क्रोध पर नियंत्रण रखना
  • आत्म मूल्यांकन की क्षमता ,इन व्यक्तियों को अपने बारे में पता रहता है की मैं क्या हू और मैं क्या कर सकता हू। ये काल्पनिक जीवन में नही जीते है इनका जीवन को जो नजरिया होता है वो यथार्थ होता है।

मानसिक स्वास्थ्य को प्रभावित करने वाले कारक (factors affecting mental health in Hindi):-

 मानसिक बीमारी का कोई एक कारण नहीं होता है। कई कारक मानसिक बीमारी के जोखिम में योगदान कर सकते हैं, जैसे कि

  •  बचपन में घटित बुरी घटनाएं जैसे आघात या दुर्व्यवहार का इतिहास (उदाहरण के लिए, बाल शोषण, यौन हमला, आदि)
  • माता पिता का पक्षपात पूर्ण व्यवहार
  • परिवार का कठोर अनुशासन 
  • परिवार में निर्धनता
  • दूषित पड़ोस
  • विद्यार्थीयो में भाषा संबंधी त्रुटि
  • सामाजिक कुरीतियां और अंधविश्वास
  • शराब या नशीली दवाओं का उपयोग
  •  कैंसर या मधुमेह जैसी अन्य चल रही (पुरानी) चिकित्सा स्थितियों से संबंधित अनुभव
  • अकेलेपन या अलगाव की भावना 
  • मस्तिष्क में जैविक कारक या रासायनिक असंतुलन

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मानसिक स्वास्थ्य के उपाय (mental health measures in Hindi):-

मानसिक रूप से स्वस्थ रहने के लिए हमे जरूरी है कि हम अपने जीवनशैली में अच्छी चीजों को शामिल करें, मानसिक रूप से स्वस्थ रहने के लिए क्या उपाय करने चाहिए ये नीचे लेख में विस्तार पूर्वक बताया गया है।

बच्चो के लिए उपाय

( a )– बालको को सुरावत से अपने संवेगो और भावनाओं पर नियंत्रण रखने का प्रशिक्षण देना चाहिए

b–बालकों को अपने विचारों को व्यक्त करने का मौका देना चाहिए।

c–बालकों के अंदर अगर किसी और के प्रति गलत भावना उत्पन्न हो तो उसे बड़ों को उस गलत फहमी को दूर करना  चाहिए।

d–बालकों को विभिन्न प्रतियोगिताओं भाग लेने का मौका देना चाहिए।

e–बालकों को वातावरण से समायोजन का प्रशिक्षण देना चाहिए।

ये पांच नियम मैंने सिर्फ बालको के लिए लिखा है और ये सारे उपाय सभी के लिए है।

 2 खुद को महत्व दें

 अपने आप को दयालुता और सम्मान के साथ व्यवहार करें, और आत्म-आलोचना से बचें। अपने शौक और पसंदीदा परियोजनाओं के लिए समय निकालें या अपने क्षितिज का विस्तार करें। 

 2. अपने शरीर का ख्याल रखें

 शारीरिक रूप से अपना ख्याल रखना आपके मानसिक स्वास्थ्य में सुधार कर सकता है। के लिए सुनिश्चित हो:

2. व्यायाम करें

जब आप व्यायाम करते हैं, तो आप एंडोर्फिन छोड़ते हैं, जिससे आप अच्छा महसूस करते हैं। साथ ही, जब आप अच्छे दिखते हैं, तो आपको आत्म-सम्मान को बढ़ावा मिलता है और आप अच्छा महसूस करते हैं।

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3. अपने आहार पर नियंत्रण रखें

व्यायाम के साथ-साथ, आपका आहार आपके महसूस करने के तरीके को बदल सकता है। फल, सब्जियां खाना और पर्याप्त पानी प्राप्त करना आसान पिक-अप-अप के रूप में काम कर सकता है।

 4. अच्छे लोगों के साथ रहें

मजबूत पारिवारिक या सामाजिक संपर्क वाले लोग आम तौर पर उन लोगों की तुलना में स्वस्थ होते हैं जिनके पास समर्थन नेटवर्क नहीं होता,इसलिए ऐसी गतिविधियों की तलाश करें जहाँ आप नए लोगों से मिल सकें।

 5. खुद को समय दे 

 किसी और की मदद करने के लिए अपना समय और ऊर्जा स्वयंसेवा करें। आप किसी जरूरतमंद की मदद करने के लिए कुछ ठोस करने के बारे में अच्छा महसूस करेंगे - और यह नए लोगों से मिलने का एक शानदार तरीका है। सुझावों के लिए ऐन आर्बर में करने के लिए मज़ेदार और सस्ते चीज़ें देखें।

 6. तनाव से निपटना सीखें:

 मानो या न मानो, तनाव जीवन का एक हिस्सा है। मुकाबला करने के लिए, प्रकृति की सैर करें, अपने पालतू जानवरों के साथ खेलें या तनाव कम करने वाले के रूप में लेखन का प्रयास करें। इसके अलावा, मुस्कुराना और जीवन में हास्य देखना याद रखें। अनुसंधान से पता चलता है कि हँसी आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ावा दे सकती है, दर्द कम कर सकती है, आपके शरीर को आराम दे सकती है और तनाव कम कर सकती है।

 7. अपने दिमाग को शांत करें:

 ध्यान, सचेतन और/या प्रार्थना करने का प्रयास करें। विश्राम अभ्यास और प्रार्थना आपके मन की स्थिति और जीवन के दृष्टिकोण में सुधार कर सकते हैं। वास्तव में, शोध से पता चलता है कि ध्यान आपको शांत महसूस करने और चिकित्सा के प्रभाव को बढ़ाने में मदद कर सकता है। जुड़ने के लिए, छात्रों के लिए व्यक्तिगत भलाई पर आध्यात्मिक संसाधन देखें

8. नींद पूरी करें

नियमित रूप से आप जितना सोते थे, उसे जरूर पूरा करने की कोशिश करें क्योंकि पर्याप्त नींद बहुत जरूरी है। हर रोज के लिए सोने का एक सामान्य समय और उठने का समय तय रखें। इससे आप बेहतर रूप से नींद पूरी कर पाएंगे और सुबह उठते हुए तरो-ताजा महसूस करेंगे। साक्ष्य बताते हैं कि जो लोग नींद पूरी नहीं करते उनको ज्यादा मानसिक और शारीरिक समस्याएं होती हैं। नींद की कमी से आपकी मौजूदा मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य समस्याएं भी बढ़ सकती हैं। अगर आप रात को पर्याप्त (वयस्कों के लिए 7 से 9 घंटे) नींद पूरी करते हैं तो इससे आपकी सीखने की क्षमता, स्मृति, मूड और हृदय का स्वास्थ्य बेहतर होगा और साथ ही रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बेहतर रहेगी।

 10. यथार्थवादी लक्ष्य निर्धारित करें:

 तय करें कि आप अकादमिक, पेशेवर और व्यक्तिगत रूप से क्या हासिल करना चाहते हैं, और अपने लक्ष्यों को हासिल करने के लिए आवश्यक चरणों को लिखें। 

11. अच्छी बातो को अपने एक डायरी में लिखे

आभार पत्रिका रखने से आपके जीवन के अच्छे हिस्सों की पुष्टि करने में मदद मिल सकती है। जब आप उदास महसूस करते हैं, तो आप पीछे मुड़कर देख सकते हैं और उन्हें याद कर सकते हैं। हर दिन, उस दिन तीन चीजें लिखें जिनके लिए आप आभारी हैं।

 12.  शराब और अन्य नशीले पदार्थों से दूर रहें:

 शराब का सेवन कम से कम करें और अन्य नशीले पदार्थों से बचें। कभी-कभी लोग "खुद को ठीक करने" के लिए शराब और अन्य दवाओं का उपयोग करते हैं, लेकिन वास्तव में, शराब और अन्य दवाएं केवल समस्याओं को बढ़ाती हैं। 

 13. जरूरत पड़ने पर मदद लें:

 मदद मांगना ताकत की निशानी है - कमजोरी नहीं। यदि सब कुछ विफल हो जाता है और आप अपने मानसिक स्वास्थ्य का प्रबंधन नहीं कर सकते हैं, तो किसी विशेषज्ञ से संपर्क करें। डरो मत क्योंकि आप अकेले नहीं हो।

14. अत्यधिक मोबाइल डिवाइस का उपयोग ना करें: 

आज के डिजिटल युग में, अत्यधिक मोबाइल डिवाइस का उपयोग बढ़ता जा रहा है, जिस कारण से ध्यान भटकता है, फोकस कम होता है और तनाव बढ़ता है। इसलिए आप अपने मानसिक हलचल को कम करने के लिए आप सुनिश्चित करें कि आपको दिनभर में दो घंटे से ज्यादा मोबाइल का उपयोग नहीं करना है।

15.अत्यधिक चीनीयुक्त और प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थों का सेवन ना करें: 

अत्यधिक चीनीयुक्त और प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थों का उपयोग हमारे मानसिक स्पष्टता को ख़राब कर सकता है।मानसिक स्वस्थ को ठीक करने के लिए ताजे फल, सब्जियाँ, मेवे और साबुत अनाज का सेवन करें। ये पोषक तत्वों से भरपूर खाद्य पदार्थ मस्तिष्क को पोषण देते हैं और संज्ञानात्मक कार्य का समर्थन करते हैं।

16. शांत करने वाला संगीत सुनें

यह साबित हो चुका है कि शांत करने वाली आवाजें जैसे प्रकृति की आवाजें, वाद्य संगीत और शांतिपूर्ण मंत्र सुनने से तनाव और चिंता कम हो सकती है और यहां तक ​​कि आपका मूड भी बदल सकता है।


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कुछ और ध्यान देने वाली बातें

  • बीती बातों को याद करके दुखी न हों
  • -अपने आप को रखें व्यस्त
  • आज को करें सेलिब्रेट करे
  • नेगेटिव लोगों से दूरी बनाएं
  • और हा आप इस दुनिया में सबसे बेस्ट हो दूसरो से तुलना करना बंद कर दो ।

निष्कर्ष (conclusion):-

व्यक्ति के शरीर में मस्तिष्क का महत्त्वपूर्ण स्थान है, क्योंकि व्यक्ति जो भी कार्य करता है वह अपने मस्तिष्क के संकेत पर या मन के अनुसार करता है। जब तक हमारा मन स्वस्थ नहीं रहता है, तब तक हम किसी भी कार्य को ठीक से नहीं कर सकते। जिन लोगों का मस्तिष्क स्वस्थ नहीं रहता वे जीवन की विभिन्न परिस्थितियों का सामना सफलतापूर्वक नहीं कर पाते, वे सदा एक प्रकार से मानसिक उलझन या परेशानी में रहते हैं। इसका कारण मानसिक दुर्बलता या किसी प्रकार का विकार होता है आजकल की इस दौड़ती भागती जिंदगी में हर कोई स्ट्रेस में जी रहा है. इसका सबसे बड़ा कारण है जरूरत से ज्यादा सोचना. हालांकि यह इंसान पर निर्भर करता है कि वह किस बात को ज्यादा महत्व देते हैं. कुछ लोगों में छोटी-छोटी बातों को लेकर बहुत ज्यादा सोचने की आदत होती है. लेकिन, हम आपको बता दें कि जरूरत से ज्यादा सोचना हमारी सेहत के लिए बहुत नुकसानदायक हो सकती है. इस कारण आपके बाकी के काम बिगड़ सकते हैं और जीवन पर बुरा प्रभाव पड़ सकता हैं।






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